🔴यूपी मे बीजेपी का बडा झटका
🔵 युगान्धर टाइम्स व्यूरो
नई दिल्ली। लोकसभा चुनाव में एक बार फिर एग्जिट पोल ध्वस्त हो गया। वर्ष 2004 की तरह इस बार के परिणाम उलटे निकले। एक दशक बाद फिर से गठबंधन की सरकार का दौर लौट आया है। 400 पार का नारा देने वाली बीजेपी 272 का आंकड़ा नहीं छू पाई और 242 पर सिमटकर रह गयी। राजस्थान, गुजरात, उत्तर प्रदेश, महाराष्ट्र, बंगाल, कर्नाटक, हरियाणा में बीजेपी आधी से भी कम हो गई। तमिलनाडु और पंजाब में खाता भी नहीं खुला। ओडिशा और तेलंगाना ने लाज बचा ली। नीतीश कुमार और चंद्राबाबू नायडू अब नई सरकार के किंगमेकर बनकर उभरे हैं।
गौरतलब है कि एनडीए गठबंधन सत्ता के करीब तो पहुंच गया मगर पूर्ण बहुमत की सरकार नहीं बनने से गठबंधन का खेल शुरू हो गया। ऐसे में कहना मुनासिब होगा कि पूर्ण बहुमत से 33 सीटें कम रही बीजेपी सरकार हार वाली फीलिंग के साथ ही सरकार बनाएगी। गठबंधन सरकार में उसे एक देश, एक चुनाव और समान नागरिक संहिता जैसे मुद्दों को तिलांजलि देनी पड सकती है।
🔴क्षेत्रीय दल हुए पावरफुलवर्ष 2024 के लोकसभा चुनाव में क्षेत्रीय दलों की बाछे खिल गई है। 10 साल बाद एक बार फिर किसी भी एक दल को पूर्ण बहुमत नहीं मिला है। अब केंद्र में गठबंधन की सरकार बनेगी, जिसमें उन्हें मोलभाव करने का मौका मिलेगा। नरेंद्र मोदी की पिछली दो सरकारों में क्षेत्रीय दल सरकार में शामिल थे, मगर उन्हें बीजेपी की मर्जी वाले मंत्रालय दिए गए थे। इस चुनाव में बीजेपी के पास करीब 240 सीटें है, जो बहुमत के 272 सीटों से काफी कम है।
🔴बीजेपी नेताओं की मनमानी बनी हार का कारण
उत्तर प्रदेश में बड़ी हार के कारण बीजेपी पूर्ण बहुमत से 32 कदम दूर हो गई। इस हार के कई कारण तलाशे जा रहे हैं, महंगाई और बेरोजगारी जैसे मुद्दे बीजेपी के मुफ्त राशन और भाषण पर भारी पड़ गए। टिकट काटने का फॉर्मूला और कांग्रेस से आए नेताओं को तुरंत टिकट देने का फैसला भी बीजेपी के खिलाफ गया। इसके अलावा अबकी बार, 400 पार के नारे ने मिडिल क्लास को बूथ से दूर करने में बड़ी भूमिका निभाई। अधिकतर जगहों पर बीजेपी के कोर वोटर भी यह मानकर ओवर कॉन्फिडेंट रहे कि नरेंद्र मोदी बड़ी जीत के लिए काफी हैं। पांच चरण के चुनाव के बाद कई इलाकों में सांसद के खिलाफ भी लोगों का गुस्सा सामने आया।
🔴 यूपी में भाजपा के 13 सांसदों ने लगाई जीत की हैट्रिक,उत्तर प्रदेश के 28 सांसदों में से 13 सांसदों ने जीत की हैट्रिक लगाई है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वाराणसी से तीसरी बार चुनाव जीते हैं। वैसे तो रक्षामंत्री राजनाथ सिंह चौथी बार चुनाव जीते हैं, लेकिन लखनऊ सीट से वह भी लगातार तीसरी बार जीतने में सफल हुए हैं। मीरजापुर से अपना दल (एस) की राष्ट्रीय अध्यक्ष व केंद्रीय राज्यमंत्री अनुप्रिया पटेल ने भी लगातार तीसरा चुनाव जीता है। महाराजगंज लोकसभा सीट से केंद्रीय राज्य मंत्री व भाजपा प्रत्याशी पंकज चौधरी सातवीं बार चुनाव जीते हैं और उन्होंने यहां जीत की डबल हैट-ट्रिक मारी है। जीत की डबल हैट्रिक मारने वालों में उन्नाव के सांसद सच्चिदानंद हरि साक्षी महाराज भी शामिल हैं।गोंडा से भाजपा प्रत्याशी कीर्तिवर्धन सिंह पांचवीं बार चुनाव जीते हैं। पिछले तीन चुनाव वह भी लगातार जीते हैं। डुमरियागंज लोकसभा सीट से जगदंबिका पाल चौथी बार चुनाव जीते हैं, लेकिन भाजपा के टिकट पर यहां पर उन्होंने भी हैट-ट्रिक लगाई है। वर्ष 2009 का चुनाव वह कांग्रेस के टिकट पर जीते थे।भाजपा के अलीगढ़ से सतीश गौतम, मथुरा से हेमामालिनी, फर्रुखाबाद से मुकेश राजपूत, बुलंदशहर से भोला सिंह, गौतमबुद्ध नगर से डा. महेश शर्मा व अकबरपुर से देवेन्द्र सिंह भोले ने लगातार तीसरी बार जीत दर्ज की है।
🔴दिल्ली में फिर लहराया भगवा
दिल्ली में बीजेपी अपना गढ़ बचाने में सफल रही. उसने दिल्ली की सभी सातों सीटों पर जीत का परचम फहराते हुए लगातार तीसरी बार सभी सीटें अपने नाम कर एक नया इतिहास रच दिया। दक्षिण दिल्ली में रामवीर सिंह बिधूड़ी ने जीत दर्ज कर कमल खिलाने की ओर पहला कदम बढ़ाया. रामवीर सिंह बिधूड़ी ने आम आदमी पार्टी (आप) के सहीराम पहलवान को पराजित किया।
🔴यूपी में SP सबसे बड़ी पार्टी, BJP के खाते में 33 सीटेउत्तर प्रदेश में लोकसभा चुनाव 2024 के नतीजों के बाद सपा सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी है. सपा के पाले मे 37 सीटें मिली है जबकि सपा-कांग्रेस गठबंधन को 43 सीटें मिली हैं। वही बीजेपी को करारा झटका लगा है और भारतीय जनता पार्टी 33 सीटों पर सिमट रही है. एनडीए के खाते में करीब 36 सीटें आयी हैं. हालांकि मत-प्रतिशत की बात करें तो बीजेपी को 41 फीसदी से ज्यादा वोट मिले हैं. जबकि समाजवादी पार्टी को 33.5 फीसदी मत हाथ लगा है। इसके अलावा कांग्रेस का मत-प्रतिशत भी 9 फीसदी से ज्यादा है. यूपी में सबसे अहम बात यह रही कि बहुजन समाज पार्टी प्रदेश में खाता भी नहीं खोल पाई है. बीएसपी ने यूपी में लोकसभा की सभी सीटों पर चुनाव लड़ा था।
🔴मोदी सरकार के 6 मंत्री हारेउत्तर प्रदेश के प्रदर्शन को इसलिए बीजेपी के लिए बड़ा झटका माना जा रहा है क्योंकि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह, पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा ने यहां काफी ताकत लगाई थी। खुद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने पूरे प्रदेश में पार्टी के उम्मीदवारों के लिए धुआंधार प्रचार किया था। लेकिन बावजूद इसके उत्तर प्रदेश से आने वाले मोदी सरकार के 6 मंत्रियों को चुनाव में हार का मुंह देखना पड़ा। इसमें अमेठी से चुनाव हारने वाली स्मृति ईरानी का नाम प्रमुख हैं। स्मृति ईरानी को अमेठी सीट से गांधी परिवार के करीबी किशोरी लाल शर्मा ने 1.6 लाख वोटों से चुनाव हराया है। लखीमपुर खीरी सीट से केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा टेनी को भी हार मिली है। टेनी के बेटे पर आरोप है कि उसने प्रदर्शन कर रहे किसानों को अपनी थार गाड़ी से कुचल दिया था। विपक्ष ने इस मुद्दे को जोर-शोर से उठाया था।इसके अलावा जालौन से भानु सिंह वर्मा, चंदौली से महेंद्र नाथ पांडे, मुजफ्फरनगर से संजीव बालियान, मोहनलालगंज से कौशल किशोर और फतेहपुर सीट से उम्मीदवार साध्वी निरंजन ज्योति को भी चुनाव में हार का मुंह देखना पड़ा है।
🔴 नतीजे के बीच मोदी का भाषण
केंद्र में तीसरी बार सरकार बनाने के भाजपा के दावों के बीच प्रधानमंत्री मोदी मंगलवार को पार्टी मुख्यालय पहुंचे। उन्होंने कार्यकर्ताओं को संबोधित किया, लेकिन जुबान पर भाजपा कम और एनडीए का नाम ज्यादा रहा। मोदी अपने 34 मिनट के धन्यवाद भाषण में भाजपा का नाम 8 बार लिया तो एनडीए (भाजपा के सहयोगी दल) का हवाला दस बार दिया। प्रधानमंत्री ने विशेष तौर पर आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू और बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का जिक्र किया। उन्होंने दोनों के नेतृत्व में शानदार प्रदर्शन की सराहना की। साथ ही तीसरे कार्यकाल में एनडीए नेतृत्व में अच्छा काम करने का भरोसा दिया। दरअसल, 2014 और 2019 में अपने दम पर सरकार बनाने वाली भाजपा इस बार बहुमत से दूर है। पार्टी 240 सिमट कर रह गयी। यानी बहुमत से 32 सीट कम। चंद्रबाबू की टीडीपी 16 सीटों के साथ दूसरी और नीतीश की जदयू 12 सीटों के साथ तीसरी सबसे बड़ी पार्टी बन गई है।
🔴 राहुल ने किया प्रेसवार्ता
पीएम मोदी के भाषण से ठीक डेढ़ घंटे पहले कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की थी। दोनों ने सरकार बनाने के लिए TDP टीडीपी और जदयू से समर्थन के सवाल पर इनकार नहीं किया। खड़गे ने तो यहां तक कहा कि अभी सब यहीं बता दूंगा तो मोदी जी अलर्ट हो जाएंगे।
No comments:
Post a Comment