🔴 सात वर्षों से देवरिया जेल मे बंद था बलवीर
🔴 परिजन मृत मानकर बलवीर की खोजबीन कर दिए थे बंद
🔴 युगान्धर टाइम्स व्यूरो
कुशीनगर। नशीले पदार्थ की तस्करी के मामले में सात वर्षों से जेल में बंद पंजाब का एक बंदी जिला विधिक प्राधिकरण के सहयोग से रिहा हुआ। मजे की बात यह है कि बंदी के परिजन उसे मृत मानकर खोजबीन करना बंद कर दिए थे। बेटे को जब अपने पिता के जीवित होने की खबर मिली तो परिवार मे खुशी का ठिकाना नही रहा।
काबिलेगोर है कि पिछले सात वर्षों से जिला जेल देवरिया में बंद हरमेल सिंह पुत्र मुख्तियार सिंह, जिसके द्वारा अपने को बलवीर सिंह पुत्र नजर सिंह निवासी जिला संगरूर पंजाब बताया गया है उसे सोमवार को रिहा कर दिया। वह कसया थाना क्षेत्र से नशीले पदार्थ की तस्करी के मामले में गिरफ्तार किया गया था। बताया जाता है कि कुछ दिनों पूर्व अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश फास्ट ट्रैक कोर्ट प्रथम ने जिला विधिक सेवा प्राधिकरण कुशीनगर को निर्देशित किया था कि पिछले सात वर्षो से जिला कारागार देवरिया में बंद कैदी हरमेल सिंह पुत्र मुख्तियार सिंह जो अपने को बलवीर सिंह पुत्र नजर सिंह बता रहा है का कहना है कि जब से वह जेल में बंद है। उससे कोर्इ मिलने नहीं आया है। ऐसे में उसके बयानों की जांच कर परिजनों को सूचित किया जाये। इसके बाद जिला विधिक सेवा प्राधिकरण कुशीनगर के सचिव अमन कुमार श्रीवास्तव ने जिला विधिक सेवा प्राधिकरण संगरूर पंजाब को पत्र भेजकर उस बंदी के परिजनों को जेल में बंद होने की जानकारी दी। उसके बाद इस मामले में बन्दी के बेटे जसवंत सिंह से जिला विधिक सेवा प्राधिकरण कुशीनगर के लिपिक से वार्ता हुई। बंदी के बेटे जसवंत सिंह ने बताया कि वह पिछले सात साल से पिता के बारे में कोर्इ सूचना नहीं मिलने के कारण थक-हार कर उन्हें मृत मान लिये थे। यह खबर जानकर पूरा परिवार बहुत खुश हुआ और जिला कारागार देवरिया पहुंचकर अपने पिता से मिला। इसे सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण ने न्यायालय को अवगत कराया। फिर क्या इसके बाद इस मामले को कोर्ट ने लगातार सुनवाई कर सोमवार को बंदी को रिहा करने का आदेश दिया।
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